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Showing posts from October, 2023

Nada India Foundation's One Day Himachal Consultation Workshop ended on Positive note

The Nada India Foundation, New Delhi in Collaboration with the Faculty of Law, Himachal Pradesh University, Shimla organized  One Day State Consultation Workshop on 27 th October 2023 in the Conference Hall of the Department of Laws, Himachal Pradesh. In this State Consultation Workshop more than 60 delegates actively participated. In this State Consultation Workshop the theme was on “Strengthening Tobacco Control Laws in Himachal”.  In this the State Consultation Workshop the dignitaries were from Delhi, Haryana, Himachal, Punjab were the main speakers. Among young participants the scholars were from Faculty of Law, Social work, Sociology, Public administration have taken active participation in this workshop. In the Inaugural Session of this State consultation the Chief Guest was Dr. Ramesh Chander Chhajta SP Police Headquarters Shimla has spoken on the various dimensions on the use of tobacco.    Dr. Chhajta while delivering the inaugural address has emphasized...

तंबाकू नियंत्रण संबंधी कानूनों पर नाडा इंडिया फाउंडेशन की राज्य कनसल्टेशन कार्यशाला

  नमस्कार!   हिमाचल प्रदेश विश्वविद्यालय के कानून और सोशल वर्क संकाय के तत्वावधान में तंबाकू मुक्त हिमाचल में युवा, विद्यार्थी, विश्वविद्यालय परिवार और नाडा इंडिया के युवा वॉलंटियर ग्रुप की चर्चा में भाग लेने के लिए फैसिलिटेटर के रोल में आए हैं   हम।  यह विश्विद्यालय प्रांगण तंबाकू मुक्त घोषित किया गया है। पर काम अभी बाकी है। COTPA कानून , Cigarettes & Other Tobacco Products Act,   के प्रावधानों को भी लागू करने के लिए सरकार और संबंधित   विभागों के साथ एडवोकेसी करने की भी रणनीति मजबूत करने के लिए भी पारंगत विशेषज्ञ मार्गदर्शक संसाधन व्यक्ति भाग लेंगे। मूलतः यह युवाओं की बैठक होगी,   युवाओं द्वारा संचालित और प्रबंधित है।   इन युवा वालंटियर्स ने सांसद, विधायक और अफसर लोगों से मुलाकात कर के तंबाकू पर टैक्स, कर, बढ़ाने की अनुशंसा की और सहयोग पत्र प्राप्त किए। हिमाचल प्रदेश सरकार ने तंबाकू सिगरेट पर पिछले बजट में  टैक्स वृद्धि किया था। इन अनुशंशाओं से युवाओं और छात्रों का हौसला बढ़ा है। COTPA कानून और उसमें संशोधन क्या है? इस पर भी चर्चा ...

गोरख ट्रस्ट जैसी संस्थाएं नशा पीड़ितों के पुनर्वास लिए संबल है

 समाज में नशे का चलन तेजी से बढ़ता गया है । नशे की लत कारण हर दूसरे घर में कोई नशा पीड़ित मिल ही जाएगा। हमें यह जान लेना चाहिए कि नशा करने वाला व्यक्ति केवल खुद को अंधकार में नहीं डालता बल्कि उसके साथ उसका घर भी बर्बाद हो जाता है । ऐसे हालात में घर वालों को ये समझ ही नहीं आता कि किस तरह से पीड़ित को नशे के जाल से निकालें । नशा घातक बीमारी है। किंतु रोकथाम से इससे छुटकारा पाया जा सकता है।  नशा मुक्ति परामर्श केंद्र इसका सबसे कारगर तारीका है । नशा मुक्ति केंद्रों को लेकर के फैली अफवाहें एवम पूर्वाग्रह लेकिन इनके पास जाने से रोकते हैं । तो आपको चाहिए कि स्वयं से जांच परख कर निष्कर्ष पर पहुंचे। आपकी जानकारी के लिए बता रहा हुं । जब नशा पीड़ित की नशा मुक्ति केंद्र में भर्ती होते हैं तो सबसे पहले उनका चेकअप अथवा हेल्थ स्क्रीनिंग की जाती है l इसमें मरीज़ की कई LFT, RFT, CBC, BLOOD SUGAR, HIV, TB समेत कई जांच की जाती है। जांच के नतीजे से पीड़ित के शारीरिक स्थिति में नशे का प्रभाव मालूम चल जाता है। जांच में पाए गए चीजों के आधार पर नशा पीड़ित इंसान के withdrawal और detox का प्रोसेस शुरू ...

What sets Nada India apart is the way it works to solve variety of societal norms: Miss Hiral Krishnatray

Hiral Krishnatray  3rd semester student of BSc Biotechnology (honours) program at Amity University. she enjoys learning about and comprehending the workings of the biological world. As She has always enjoyed exploring the variety and mystery of nature and being in and around it. In addition to academics, she is fond of listening to music and anything that sparks creative side. Hiral loves pushing herself to achieve new goals and learn more.  Throwing a light on her Journey with Nada India Foundation, she says I was previously involved with NIF throughout my high school years; there I was given the title of a peer educator and learned about the organization's operations, which piqued my interest in their philosophies, aims, and other aspirations  She said NIF not only addresses community-related concerns, but also takes a communal approach to effect change by bringing to light several problems that are either ignored or infrequently discussed. This made me want to become a...

युवाओं के मन में जो है उसी पर करियर निर्भर है

  स्वास्थ्य मानव जीवन की सबसे बड़ी धरोहर है| एक अच्छा स्वास्थ्य एक अच्छे नागरिक को भी जन्म देता है| वैसे तो मनुष्य जीवन का इतिहास हजारों वर्षों पुराना है | धीरे धीरे मनुष्य का समाजीकरण हुआ और फिर उसमे विज्ञान, तकनिकी और धर्म का समावेशीकरण भी हुआ| इस प्रकार से मनुष्य ने एक विकसित मानव जीवन के परत दर परत नए नए अध्याय लिखने शुरू कर दिए| इस मानवीय यात्रा में सब कुछ अच्छा अच्छा हुआ ऐसा नहीं बल्कि समय समय पर इसमें कुरूतियों और गलत तत्वों ने भी जुड़ना शुरू कर दिया जिसके फलस्वरूप मानव जीवन में बहुत सारे अवांछित प्रयोग भी हुए और इन्होने एक बड़े तबके को अपने जकड में लेना शुरू कर दिया| शुरू शुरू में ये किसी दवाई के तौर पर प्रयोग में लिए जाने लगे पर धीरे धीरे इनमे शामिल तत्वों ने आदत में शुमार होना शुरू कर दिया| और एक दिन ऐसा ऐसा भी आया जब ये आदत मनुष्य की कमजोरी में तब्दील हो गयी| जी सही - समझा आपने मैं एकदम बात कर रहा हूँ समाज में तम्बाकू की बढती हुई लत के विषय में| ये वो समस्या है जो लाखों जीवन हर वर्ष लील रही है| सब जानते है लेकिन फिर भी युवा तबका विशेषकर इसकी चपेट में आ ही जाता है|   ...